हिन्दी साहित्य का इतिहास – रीतिकालीन काव्य के प्रेरणास्त्रोत
*** रीतिकाल का सामान्य परिचय प्राप्त करने के साथ उसके आशय से परिचित करवाना.....
*** रीतिकालीन हिन्दी कविता अपने युग-परिवेश में व्यापक श्रृंगारिक भावनाओं की प्रभावी अभिव्यक्ति करने वाली कलात्मक कविता है, जिसकी प्रमुख प्रवृति रीतिनिरूपण करनेवाले काव्यशास्त्रीय लक्षणग्रंथों के माध्यम से काव्याभिव्यक्ति करना है.........
*** राजाश्रय एवं राजदरबार में फलने-फूलने के कारण इस काल की कविता में पांडित्यप्रदर्शन और चमत्कारपूर्ण काव्यरचना की प्रवृति दिखाई देती है.......
*** संस्कृत साहित्य की समृद्ध काव्यशास्त्रीय परंपरा.......
*** प्राकृत, अपभ्रंश और संस्कृत साहित्य का श्रृंगारी साहित्य.....
*** रीतिकालीन काव्य के काव्यशास्त्रीय एवं रचनात्मक प्रेरक पृष्ठभूमि......